बेशक मैं दिखती नहीं हूं
पर मेरा वजूद है,
यूं कह लो मैं वो रीढ़ की हड्डी हुं,
जिसने तुम्हारी शोहरत संभाल रखी है,
या कह लो की मैं हूं कमान कोई
जिसने तुम्हारी खिंचाव की डोर बांध रखी है।।
छोटी छोटी चीजों में हूं मैं
बिखरी नहीं हूं, पर सिमटी भी नहीं जा सकती
तुम्हारी चादर की सिलवटों से लेकर
तुम्हारे जीवन के उतार चढ़ाव में हूं।।
ढूंढोगे गर कभी मुझे अपनी जिंदगी में
जिंदगी की हर जोड़ में हू मै
पूर्ण नहीं तो टुकड़ों में ही सही,
समय के हर मोड़ में हूं मैं।।
मुझे तवज्जो न दो
में तो ख़ुद अपूर्ण हूं
बस यूं समझ लो
Broken but beautiful सा कर्ण हूं।।
✍️ अनामिका
Web Title Anamika:
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